जैव विविधता व संरक्षण

Pages:74-75
संकेत मीठारवाल (मकान नं0 621, सैक्टर-14, रोहतक, हरियणा)

जैव विविधता किसी जैविक तंत्रा के स्वास्ट्रय का घोतक है। पृथ्वी पर जीवन आज लाखों विशिश्ट जैविक प्रजातियों के रूप में उपस्थित है। सन् 2010 को जैव विविधता का अन्तरराश्ट्रीय वर्श घोशित किया गया है। जैव विविधता एक ‘‘निओलगिज्म‘‘ और सूटकेस शब्द से , जीव विज्ञान और विविधता विज्ञान डिविजन के प्रकृति संरक्षण 1975 के अध्ययन में इस शब्द ‘‘प्राकृतिक विविधता का उपयोग किया है, संरक्षण प्राकृतिक विविधता की, ‘‘शबद जैव विविधता पहले भी इस्तेमाल किया गया था कि जैसे संरक्षण के वैज्ञानिको द्वारा राबॅर्ट ई. जेनकींस और थाॅमस लोवजोय शब्द जैव विविधता स्वयं विंग द्वारा त्वेमद में गढ़ा गया है मई 1985, जबकि राश्ट्रीय फोरम जैव विविधता के बारे में राश्ट्रीय अनुसंधान परिशद जो 1986 में आयोजित किया जाना था द्वारा आयोजित की योजना बना है और सबसे पहले 1988 में एक प्रकाशन में जब कीटविज्ञानी म्व् विल्सन है कि मंच की कार्यवाही के शीेर्शक के रूप में इसका इस्तेमाल किया दिखाई दिया। जैव विविधता और अधिक प्रभावी संचार की तुलना के संदर्भ में समझा गया था। जैव विविधता 1986 के आद से ठपवसवहपेजे के बीच व्यापक उपयोग प्राप्त कर ली है। शर्ते और अवधारणा, पर्यावरणवादियों राजनीतिक नेताओं और नागरिको का सम्बंध दुनियाभर में यह आमतौर पर प्राकृतिक वातावरण और प्रकृति संरक्षण के लिए एक चिन्ता करने के लिए समानता के लिए प्रयोग किया जाता है।

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संकेत मीठारवाल (मकान नं0 621, सैक्टर-14, रोहतक, हरियणा)